माँ

माँ तो माँ होती है ,
खुद भुखी  बेटो को खिलाती है । 

कितनी दर्द सह जाती है, 
खुद कभी नही बताती है।

आपनो के खुशी के खातिर 
दर्द की आशु को पी जाती  है ।

माँ तो माँ होती है , 
आपनो के लिए सारी जीवन जीती है ।

नजाने क्यो अपने खवाइस को छोड़ 
दूसरों की पूर्ति करती है .
आखिर माँ तो माँ होती है ।
###################
माँ आपकी ममता और प्यार,
अपने आँखो से है देखा।

माँ आपकी आँचल में,
अपने बचपन है गुजारा।

माँ आपकी ऊँगली को,
पकड़ कर चलना है सीखा।

माँ आपही ने मुझे दिया,
इस दुनिया में ज्ञान और संस्कार।

माँ मैं कैसे भूल सकता हूँ,
आपकी ममता और प्यार।

माँ आपको नमन करता हूँ,
हृदय से शत्—शत् बार।
##############################


कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें